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Showing posts from July, 2019

हदीस सुनने का ज़ोको शौक और उसकी हिफ़ाज़त करने का रिक्कत अंगेज़ वाक्या

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(हदीस सुनने का ज़ोको शौक और उसकी हिफ़ाज़त करने का रिक्कत अंगेज़ वाक्या ) Arzooemadina.blogspot.in हजरत हाफिज़ निशापुरी रहमतुल्लाह अलैह फरमाते है कि हजरत अबु अय्युब अन्सारी रज़ियल्लाहु अन्हु ने हुजुर नबी ए करीम सल्लल्लाहू अलैह व सल्लम से एक हदीस सुनी थी इत्तेफाक से उस हदीस को सुनने वाले मशहुर सहाबी हजरत उकबा बिन आमिर रज़ियल्लाहु अन्हु भी थे  चुनांचे हुजुर के विसाल फरमाने के बाद इस्लाम कि फतुहात का सिलसिला वसिअ हुवा और शाम रुम इरान पर भी परचमे इस्लाम लहराया लिहाज़ा इन फतुहात मे बहुत से सहाबी इधर उधर सुकुनत पजिर हुवे चुनांचे हज़रत उकबा बिन आमिर मिस्र मे सुकुनत पजिर हो गये थे  इधर किसी तरह हजरत अबु अय्युब को ये खबर लगी कि जो हदीस उन्होने हुजुर अलैहीस्सलाम से सुन रखी है वही हदीस हजरत उकबा बिन आमिर ने भी सुन रखी है  चुनांचे हजरत अबु अय्युब को ये शौक ए इश्तियाक मदीने से मिस्र कि और ले चला ताकी वो उनसे हदीस सुनकर ये रिवायत कर सके कि इस हदीस को रिवायत करने वाले हम दौ शख्स है और हदीस कि सनद मजबुत हो जाए  लिहाज़ा कमज़ोरी व ज़ ईफि कि हालत मे निकल पङे सफरे मिस्र को मही

नौजवानों के लिए सबक़ आमोज़ वाक़िआ

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#नौजवानों_के_लिए_सबक़_आमोज़_वाक़िआ*                             #इश्क़ Arzooemadina.blogspot.in बनी इस्राईल का एक क़स्साब (क़साई) अपने पड़ोसी की कनीज़ पर आशिक़ हो गया- इत्तिफाक़ से एक दिन कनीज़ को उसके मालिक ने दूसरे गांव किसी काम से भेजा- क़स्साब को मौक़ा मिल गया और वो भी उस कनीज़ के पीछे हो लिया- जब वो जंगल से गुज़री तो अचानक क़स्साब ने सामने आकर उसे पकड़ लिया और उसे गुनाह पर आमादा करने लगा- जब उस कनीज़ ने देखा कि उस क़स्साब की नियत खराब है तो उसने कहा:            "अय नौजवान तू इस गुनाह में ना पड़ ! हक़ीक़त ये है कि जितना तू मुझसे मुहब्बत करता है उससे कहीं ज़्यादा मैं तेरी मुहब्बत में गिरफ्तार हूं लेकिन मुझे अपने मालिके हक़ीक़ी عز وجل का खौफ इस गुनाह के इर्तिकाब से रोक रहा है.!" उस नेक सीरत और खौफे खुदा रखने वाली कनीज़ की ज़बान से निकले हुए ये अल्फाज़ तासीर का तीर बनकर उस क़स्साब के दिल में पैवस्त हो गए और उसने कहा:               "जब तू अल्लाह से इस क़द्र डर रही है तो मैं अपने पाक परवरदिगार से क्यूं ना डरूं- मैं भी तो उसी मालिक का बंदा हूं

हदीस शरीफ की रोशनी

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☪🌴हदीस शरीफ की रोशनी🌴☪ 💠सदा सच्चाई पे जिंदगी बसर करो💠 @arzooemadina हजरत हसन बिन अली (रदी अल्लाह अन्हु) फरमाते हैं कि मुझे हुजूर नबी-ए-करीम (सल्लल्लाहु अलैही वस्सलम) का यह फरमान (आज भी) याद है,आप सरकार सल्लल्लाहु अलयहे वसल्लम ने फरमाया,  शक व शुब्हा वाली चीज़ से बचकर रहो ओर हमेशा 'शक' व 'शुब्हे' से पाक चीज़ को ही इख्तियार करो ओर बेशक 'सच्च' सुकुन है ओर 'जूठ' शक व शुब्हा है !     🌻(तिरमिजी शरीफ:  2518 )🌻